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Monday, May 14, 2012

नौकरी के साथ एनजीओ चला रहे थे संजय मोहन


नौकरी के साथ एनजीओ चला रहे थे संजय मोहन

लखनऊ (ब्यूरो)। टीईटी घोटाले में गिरफ्तार माध्यमिक शिक्षा परिषद के पूर्व निदेशक संजय मोहन नौकरी के साथ एनजीओ भी चला रहे थे। इसी एनजीओ के जरिए उन्होंने अपनी काली कमाई एलपीएस की दो शाखाओं का निर्माण कराया था। उन्होंने अपने खास कारिंदे को सरकारी किताबें छापने के ठेके के साथ स्कूल निर्माण का काम सौंप रखा था। एलपीएस के मालिक लोकेश सिंह ने रविवार को गाजीपुर थाने की पुलिस के सामने संजय मोहन के राज उजागर करते हुए तमाम दस्तावेज सौंपे हैं।

डीआईजी ने बताया कि टीईटी घोटाले के 17 लाख रुपये के साथ 3 मई को गिरफ्तार देवकुमार पांडेय से पूछताछ के बाद पुलिस ने संजय मोहन के खास कारिंदे अशफाक व उसके बहनोई फारुख शेख की तलाश शुरू की थी। पुलिस साथ ही एलपीएस के मालिक लोकेश सिंह से भी पूछताछ की कोशिश कर रही थी। उन्होंने खुलासा किया कि वृंदावन कॉलोनी के सेक्टर-2 व सेक्टर-4 में लखनऊ पब्लिक स्कूल (एलपीएस) की शाखा की स्थापना प्रकाशवती शैक्षिक, सामाजिक एवं सांस्कृतिक संस्था ने की है। सेक्टर-2 स्थित शाखा में शैक्षिक कार्य चल रहा है।

जबकि सेक्टर-2 की शाखा अभी निर्माणाधीन है।
लोकेश द्वारा सौंपे दस्तावेजों के मुताबिक प्रकाशवती शैक्षिक, सामाजिक एवं सांस्कृतिक संस्थान का वर्ष 2002 में रजिस्ट्रेशन हुआ था और संजय मोहन इसके अध्यक्ष थे। इसके बाद उन्होंने वृंदावन कॉलोनी के सेक्टर-2 में एलपीएस की शाखा का निर्माण कराया। वर्ष 2009 में एनजीओ के नवीनीकरण के दौरान कमेटी में फेरबदल हुआ। इस बार संजय मोहन के साले नित्यानंद सिंह अध्यक्ष बन गए। उसकी पत्नी सरोज उपाध्यक्ष और संजय मोहन का बेटा नितिन कोषाध्यक्ष चुना गया। नई कमेटी के कार्यकाल में सेक्टर-4 में स्कूल निर्माण शुरू हुआ। संजय मोहन ने स्कूल के निर्माण का जिम्मा अपने खास कारिंदे अशफाक को सौंप रखा था। उसे ही सरकारी पुस्तकें छपवाने का ठेका भी दिया था। संदेह है कि पुस्तकें छापने में भी मोटा खेल हुआ है।

शिक्षा विभाग में आज से पड़ताल
डीआईजी ने जानकारी दी कि टीईटी घोटाले व अन्य जानकारियों के चलते एसओ गाजीपुर को शिक्षा विभाग में पड़ताल के आदेश दिए गए हैं। संजय मोहन के करीबियों का पता लगाने के साथ विभिन्न ठेकों के बारे में तहकीकात की जाएगी। अशफाक को पुस्तकें छापने का ठेका कब और कितने में मिला? इसमें संजय मोहन की क्या भूमिका थी? ठेके से कमाई के एवज में अशफाक ने संजय मोहन के स्कूल को क्या दिया? भरोसा है कि शिक्षा विभाग में पड़ताल से कई गड़बड़ घोटाले उजागर होंगे।

स्कूल की कीमत आंकेगी पुलिस
वृंदावन कॉलोनी के सेक्टर-2 व सेक्टर-4 में संजय मोहन द्वारा बनाई लखनऊ पब्लिक स्कूल की शाखाओं की कीमत आंककर एनजीओ से जुड़े लोगों से धन के बारे में तहकीकात की जाएगी। इससे संजय मोहन की काली कमाई के साक्ष्य मिलने की उम्मीद है। - आशुतोष पांडेय, डीआईजी

9 comments:

  1. sanjay to gaya ha ha ha

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    1. tet me kuch gdbd hua to me sanjay mohan ko goli markr khud ko bhi khtm kr lunga

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  2. Matlb samjh na chahiye ki dus me legally nirny liya jayega, bas us nirny me kaha jayega ki tet ki merit se bharti karna uchit nhi hoga,isliye acd pe bharti karna ek rasta nikala gaya hai jis se candidate ka nuksan na ho .ye sochi samjhi rup-rekha hai hume ye samjh na chahiye . Thanks dosto

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  3. ishase yah sidh hota hai ki ye kitaney badapaimane par jab se kurasai par baithe hai tab se karate aa rahe hai inonhe tgt/pgt/clark/peon bharatime bhi lagata hai badi gadabadi kiye hai ye sara rupaya bibhinna bharatiyo/ prabandhako se kamaya hua hai board ke centar nirdharan se bhi .....
    agar tet ko kuchh hota hai to ab tak ki sari bhartiyo ko bhi naye sire se cheak karana padega gov ko

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  4. भड़के टीईटी अभ्यर्थी, कई जिलों में बवाल
    बरेली में शव यात्रा निकालने के दौरान लाठीचार्ज, मुरादाबाद में घंटों जाम रखा नेशनल हाईवे
    • अमर उजाला ब्यूरो
    लखनऊ। शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) पास अभ्यर्थियों ने चरणबद्ध आंदोलन शुरू कर दिया है। बरेली में शव यात्रा निकालने के दौरान पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया। मुरादाबाद में घंटों नेशनल हाई-वे को जाम रखा गया। रायबरेली, बाराबंकी, अंबेडकरनगर, सीएसएमनगर (अमेठी), देवरिया और बहराइच में प्रदर्शन, चक्का जाम कर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की गई। फैजाबाद में टीईटी परीक्षा उत्तीर्ण शिक्षक संघर्ष मोर्चा की बैठक में अविलंब नियुक्ति करने की मांग की गई।
    टीईटी पास अभ्यर्थी पिछले कई दिनों से मेरिट के आधार पर शिक्षक बनाए जाने की मांग कर रहे हैं। मुख्यमंत्री शनिवार को सैफई गए हुए थे। टीईटी पास अभ्यर्थियों ने उनका वहां घेराव कर लिया। उनकी गाड़ी के आगे खड़े हो गए। टीईटी उत्तीर्ण संघर्ष मोर्चा ने चरणबद्ध आंदोलन की घोषणा की है। इसके तहत बरेली में टीईटी अभ्यर्थियों के भविष्य की शव यात्रा निकाली जा रही थी। पुलिस ने रोकने का प्रयास किया। बात न बनने पर उन पर लाठी चार्ज कर दी गई। इसी तरह मुरादाबाद में नेशनल हाईवे जाम कर दिया गया।
    अंबेडकरनगर में टीईटी संघर्ष मोर्चा जिला इकाई ने कलेक्ट्रेट के समक्ष जोरदार प्रदर्शन किया। अभ्यर्थियों ने अकबरपुर बसखारी मुख्य मार्ग पर पहुंचकर पटेलनगर तिराहे पर सड़क जाम कर दिया। इससे लगभग आधा घंटा यातायात प्रभावित हुआ। जाम की सूचना पर पहुंचे सदर तहसीलदार को ज्ञापन सौंपा। उनके आश्वासन के बाद जाम समाप्त किया।
    फैजाबाद में टीईटी परीक्षा उत्तीर्ण शिक्षक संघर्ष मोर्चा के सदस्यों की बैठक हुई। इसमें शासन से अविलंब नियुक्ति करने की मांग की गई।
    रायबरेली में टीईटी उत्तीर्ण अभ्यर्थियों ने प्रांतीय आह्वान पर चक्का जाम की रणनीति बनाई। कुछ देर में बरगद चौराहा पहुंच लखनऊ-इलाहाबाद राष्ट्रीय राजमार्ग पर जाम कर दिया। पुलिस को भनक लगी तो सुरक्षा बल भेजा गया। काफी समझाने के बाद अभ्यर्थियों ने जाम खोला और डीएम को ज्ञापन सौंपा।
    सीतापुर में टीईटी संघर्ष मोर्चा ने बैठककर राज्य मंत्री अभिषेक मिश्र को मांग पत्र दिया गया। मांग पत्र के जरिये प्राथमिक विद्यालयों में टीईटी उत्तीर्ण अभ्यार्थियों के भविष्य को देखते हुए उनकी नियुक्त शीघ्र कराने की मांग की गई। वहीं,
    मुख्यमंत्री के बाराबंकी दौरे के ठीक एक दिन पहले मेरिट बनाने की मांग को लेकर टीईटी अभ्यर्थियाें ने जोरदार प्रदर्शन किया। शहर में जुलूस निकालकर बैनर के साथ नारेबाजी कर अभ्यर्थी नेशनल हाईवे पहुंचे और सड़क पर लेट गए। इस प्रदर्शन के चलते काफी देर तक जाम लगा रहा। तहसीलदार द्वारा ज्ञापन लेने के बाद ही अभ्यर्थियाें ने जाम हटाया। गौरीगंज में रेलवे स्टेशन परिसर में धरना दिया गया। आक्रोशित बेरोजगारों ने वाराणसी से लखनऊ जा रही बीपीएल पैसेंजर को 10 मिनट रोके रखा। स्टेशन अधीक्षक के अनुरोध पर ट्रेन के सामने से हटे। यही नहीं, शहर में शासन-प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की। समझाने पर शांत हुए टीईटी अभ्यर्थियों ने मुख्यमंत्री को संबोधित ज्ञापन जिला प्रशासन को सौंपा।
    टीईटी पर फैसला 10 दिन में
    लखनऊ। राज्य सरकार शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) पर अंतिम निर्णय 10 दिनों में ले लेगी। मुख्य सचिव जावेद उस्मानी की अध्यक्षता में गठित हाई पावर कमेटी ने मुख्यमंत्री को रिपोर्ट सौंप दी है। इसका परीक्षण न्याय विभाग से कराया जा रहा है। सूत्रों का कहना है कि कमेटी ने टीईटी निरस्त न करने की संस्तुति की गई है। न्याय विभाग से राय मिलने के बाद इस संबंध में अंतिम निर्णय किया जाएगा। मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित कमेटी से मिली रिपोर्ट का न्याय विभाग से परीक्षण कराया जा रहा है। सरकारी प्रवक्ता ने कहा है कि टीईटी प्रकरण से संबंधित पहलुओं का शासन परीक्षण करा रहा है। इस संबंध में अंतिम निर्णय लेने में कम से कम 10 दिन का समय और लग जाएगा। प्रवक्ता ने यह भी कहा है कि टीईटी पास अभ्यर्थियों की समस्याओं का निराकरण करने के लिए यथोचित निर्णय किया जाएगा। यूपी में 72 हजार 825 शिक्षकों की भर्ती के लिए माध्यमिक शिक्षा परिषद ने नवंबर 2011 में टीईटी आयोजित कराई थी। टीईटी में धांधली के आरोप में माध्यमिक शिक्षा परिषद के तत्कालीन निदेशक संजय मोहन को गिरफ्तार किया जा चुका है।
    •अंबेडकरनगर, फैजाबाद, रायबरेली, सीतापुर, बाराबंकी में भी फूटा अभ्यर्थियों का गुस्सा, गौरीगंज में रोकी पैसेंजर ट्रेन, स्टेशन अधीक्षक के अनुरोध पर जाने दी ट्रेन
    गौरीगंज में ट्रेन रोक कर टीईटी उत्तीर्ण अभ्यर्थियों ने जमकर विरोध प्रदर्शन किया।

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  5. kal hume phir date milne wali h ab tk aisa hi hua h jb b court me decision date ati h tb govt ek new date deti h phir court b usi din ki date deti h next date 25 may ky as pas ho gi

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  6. Thanks dharam bhai ....@nitin ji absolutely you are right

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  7. IF SANJAY MOHAN HAS DONE UNFAIR THINGS THEN WHY GOVT HAS DECIDED TO GIVE PUNISHMENT TO UPTET MERIT HOLDERS, WHY NOT ONLY SANJAY MOHAN ??????????????

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  8. WHY SHOULD WE REPAY FOR WHAT SANJAY MOHAN DID???????????? WE ARE THE VICTIMS NOT THE CULPRIT LIKE SANJAY MOHAN!!!!!!!!!!

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