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Monday, May 20, 2013

अंशकालिक संविदा शिक्षकों की तैनाती जुलाई में


UPTET / Teacher Recruitment / Anudeshak Samvida Teacher Recruitment UP:
अंशकालिक संविदा शिक्षकों की तैनाती जुलाई में
उच्च प्राथमिक स्कूलों में रखे जाने हैं 41 हजार संविदा शिक्षक

लखनऊ। बेसिक शिक्षा परिषद के उच्च प्राथमिक स्कूलों में 41 हजार अंशकालिक संविदा शिक्षकों की तैनाती 1 जुलाई से शुरू हो जाएगी। सर्व शिक्षा अभियान का राज्य परियोजना निदेशालय इस संबंध में सोमवार से जिलों को दिशा-निर्देश भेजेगा। इसमें संविदा की शर्तों का प्रारूप भी शामिल होगा। इसके अलावा बेसिक शिक्षा अधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि नेशनल इन्फॉरमेटिक्स सेंटर (एनआईसी) से चयनितों का सत्यापन करा लें, ताकि कोई गड़बड़ी न हो।
शिक्षा का अधिकार अधिनियम लागू होने के बाद 6 से 14 वर्ष तक के बच्चों की शिक्षा अनिवार्य की गई है। इस अधिनियम के तहत उच्च प्राथमिक स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों को विशेष शिक्षा देने की व्यवस्था की गई है। इसमें कला, शारीरिक शिक्षा व स्वास्थ्य और कार्य अनुभव की शिक्षा देना अनिवार्य किया गया है। सर्व शिक्षा अभियान के तहत पिछले साल ही इसके लिए संविदा शिक्षकों की भर्ती की जानी थी, लेकिन नहीं की गई। सर्व शिक्षा अभियान के राज्य परियोजना निदेशालय ने इस साल इन पदों पर भर्ती के लिए विज्ञापन निकाला था।
इसमें कला, शारीरिक व स्वास्थ्य शिक्षा तथा कार्य अनुभव की शिक्षा के लिए 41307 पदों के लिए आवेदन मांगे गए। इसके लिए करीब पांच लाख आवेदन आए। काउंसलिंग प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। अब चयनितों को तैनाती देने की प्रक्रिया शुरू की जानी है





News Source / Sabhaar : Amar Ujala (20.5.13)

12 comments:

  1. sikshamitra ummeed ke cycle pr sawaar?

    Election 2014 me,cycle puncher.

    Sikshamitra laachaar,bekaar.

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  2. up police/lakhepal ke vaccence aye.
    S.p ke leye ghotalo ke sogaate laye.

    Up prt se nahe hai en chooron ko koi kamae.

    Es leye ye naukari court me lutkaye.

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  3. jai shree Ram. Jis tarah any case m adhikari awmanana ke karan jel ja rahe h isme kab crt ka order(ov age,scert letter) na manne ke haramkhor sp ke kutte kel jayenge.jai hind

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  4. Jai shree Ram. Chahe koi kitna hi power ful kyo na ho uske karmo ka fal aaj nahi to kal milta jarur hai.hamne apna karm kr diya h so der saber hame v apna fal mil jayega. Other job ka v prepare karte rahe.is sapa ko v uske kiye gaye bure karmo ka fal bhugatna padega.jai bhrigu baba nyay kariha.jai hind.

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  5. हमारे ज्यादातर साथी आज-कल एक ही सवाल पूछते हैं कि आर्डर कब आ रहा है ,,,चूँकि इससे पहले इस सम्बन्ध में इलाहाबाद से प्राप्त सूचनाएं सही नहीं निकलीं इसलिए कई लोग सुजीत भाई या गणेश भाई पर आर्डर ना आने देने का इल्जाम लगा रहे हैं जैसे अनवरत टेट मेरिट की पैरवी करने के पुरूस्कार के रूप में हमारे साथियों को इलाहाबाद उच्च न्यायालय द्वारा Honorary judge नियुक्त कर दिया गया हो ,,,हमारे साथी अपनी तरफ से सही सूचना देने का ही प्रयास करते हैं लेकिन उनके हाथ में इससे अधिक कुछ भी नहीं है ,,,और गलत सूचना देने से उन्हें कोई लाभ भी नहीं है ,,,,,,,, रही बात मेरी,,,तो मैं कभी उन चीजों को लेकर टेंशन लेने का पक्षधर नहीं रहा जिपर हमारा बस ना हो ,,,, संविधान पीठ का निर्णय आने में देरी की वजह से मुझे भी कभी-कभी थोड़ी बहुत अधीरता हो जाती है लेकिन मैं तुरंत ही उस दिन को याद कर लेता हूँ जब गुणांक धारियों की काउंसिलिंग शुरू हो गई थी ,,,उससे पहले के वो दिन भी याद करता हों जब हमारे तथाकथित चाहने वाले यह पता करने के लिए सडकों पर हमारा इन्तजार करते थे कि हमने एकैडमिक अच्छी ना होने के बावजूद कितने जिलों से फ़ार्म भर दिया है ,,उनका हमपर तरस खाना भी मुझे अच्छी तरह याद है,,,,, जब ये सब याद करता हों तो मेरे लिए संविधान पीठ का निर्णय आने में देरी कोई मायने नहीं रखती ,,,,, एकैडमिक ग्रुपों में भले ही आज भी गुणांक से भर्ती होने के पक्ष में कुतर्क दिए जाते रहते हों लेकिन सचा तो यह है कि अब एकैडमिक वाले भी यह बात अच्छी तरह समझ गये हैं कि ये भर्ती जब भी होगी टेट मेरिट से ही होगी,,,, स्टे लगने और उसके जारी रहने के साठ ही उनको यह ज्ञान हासिल हो चुका है कि भारत में सरकार के पास कोर्ट का आदेश ना मानने का कोई विकल्प नहीं होता और कोर्ट सरकार के दबाव में नहीं बल्कि सरकार कोर्ट के आदेशानुसार काम करती है ,,,,हाँ ,,,,आज-कल वो लोग सबसे ज्यादा परेशान हैं जिनका दोनों ही प्रक्रियाओं से चयन हो रहा था ,,उनसे मेरी सहानुभूति है लेकिन सिर्फ उनसे ही जो कल भी टेट मेरिट समर्थक थे आज भी दिल से टेट मेरिट के ही समर्थक है ,,उन लोगों से मुझे बिलकुल भी सहानुभूति नहीं है जो कैबिनेट के निर्णय के साथ ही टेट संघर्ष मोर्चे के सिद्दांतों से विमुख हो गये थे ,,,टेट मेरिट समर्थक अपने साथियों का मनोबल तोड़ने में इन्हीं लोगों का हाथ था ,,,,,ऐसे लोगो के लिए मैं सिर्फ एक ही शब्द प्रयोग करना पसंद करता हूँ,,,,,,गद्दार ,,,,,,, ये समय उनके खून के आँसू निकलने का है,,,,,, जब भी किसी टेट मेरिट समर्थक को भर्ती में हो रही देरी से परेशानी का आभास हो वो ऐसे ही लोगों को फोन मिलाए या उनके घर पहुँच जाए ,,,,,वादा रहा,,,उसको एक विशेष प्रकार का आत्मिक सुकून मिलेगा

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  6. चार फरवरी को UPTET2011 उत्तीर्ण अभ्यर्थी दो स्पष्ट भागों में विभाजित हो गये थे ,,,,पहली श्रेणी में वो लोग थे स्टे की खबर सुनकर जिनके मुँह से निकला ,,"ओह शिट ,,,अब तो यह भर्ती लटक गई "
    दूसरी श्रेणी में वो लोग थे जिनकी स्टे की खबर सुनकर प्रतिक्रिया थी ,,,"यस्स्स्स्स ,,अब आएगा मजा ,,,हमने अपनी एकता के सहारे सरकार और एकैडमिक वालों को उनकी औकात दिखा दी " इस बात से मुझे कोई फर्क नहीं पडता कि स्टे लगने पर खुश होने वालों में से कितने लोगों से मेरा विवाद रहा है ,,,यहाँ पर आकर हम सब एक हो जाते हैं,,,,

    पहली श्रेणी में ऐसे लोग भी थे जिनका टेट मेरिट और गुणांक दोनों विधियों से चयन हो रहा है,,, नौकरी वो भी पायेंगे और दूसरी श्रेणी वाले भी पायेंगे ,,,अगर अखिलेश यादव को तरस आ गया तो शायद शुद्द गुणांक वाले भी दो साल बाद नौकरी पा जाएँ ,,लेकिन किसी भी तरह भर्ती समर्थक और शुद्ध टेट मेरिट समर्थक जीत की घोषणा के बाद अलग-अलग प्रतिक्रिया करेंगे ,,,, किसी भी तरह भर्ती समर्थक उस दिन को मुक्ति दिवस के रूप में याद रखेंगे और हम शुद्ध टेट मेरिट समर्थक विजय दिवस के रूप में ,,,,,, बहुत से लोगों को लगता है कि हमने ये भर्ती रोक रखी है,,लेकिन सच तो यह है कि अगर यह भर्ती होने जा रही है तो उत्तर प्रदेश टेट संघर्ष मोर्चे के कारण ही होने जा रही है,,, यदि हमने संघर्ष ना किया होता तो सरकार ना तो उस्मानी कमेटी का गठन करती ,,ना कोर्ट सरकार को उस्मानी कमेटी की सिफारिशों पर निर्णय लेने को बाध्य करता और ना ही सरकार चयन प्रक्रिया में बदलाव करके वह विज्ञापन लाती जिसे रौंदकर टेट मेरिट से भर्ती होने जा रही है,,,, सरकार को यह बात बहुत अच्छी तरह मालूम थी कि यह भर्ती जब भी होगी टेट मेरिट से ही हो पायेगी,,,उसके पास विधिक सलाहकारों की कमी नहीं है,,जाहिर है कि सरकार ऐसे युद्ध में अपनी इच्छा तो उतरने वाली थी नहीं जिसमें उसकी हार सुनिश्चित हो ,,, अगर हमारे संगठन ने संघर्ष ना किया होता तो यह भर्ती कभी नहीं होती ,,,,,,आज भी कपिलदेव की याचिका पर स्टे लगा होता ,,,,आज मैं कपिलदेव का भी शुक्रिया अदा करना चाहूंगा ,,,,वो बेवकूफ अगर कहीं सरकार के आने के बाद अपनी याचिका वापस ले लेता तो हम ऐसे संकट में पड़ जाते जिसके बारे में सोचते हुए भी डर लगता है,,,,__________________________

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  7. एक बार अकबर ने बीरबल से पूछाः "तुम्हारे भगवान और हमारे खुदा में बहुत फर्क है। हमारा खुदा तो अपना पैगम्बर भेजता है जबकि तुम्हारा भगवान बार-बार आता है। यह क्या बात है ?"
    बीरबलः "जहाँपनाह ! इस बात का कभी व्यवहारिक तौर पर अनुभव करवा दूँगा। आप जरा थोड़े दिनों की मोहलत दीजिए।"
    चार-पाँच दिन बीत गये। बीरबल ने एक आयोजन किया। अकबर को यमुनाजी में नौकाविहार कराने ले गये। कुछ नावों की व्यवस्था पहलेसे ही करवा दी थी। उस समय यमुनाजी छिछली न थीं। उनमेंअथाह जल था। बीरबल ने एक युक्ति की कि जिस नाव में अकबर बैठा था, उसी नाव में एक दासी को अकबर के नवजात शिशु के साथ बैठा दिया गया।सचमुच में वह नवजात शिशु नहीं था। मोम का बालक पुतलाबनाकर उसे राजसी वस्त्र पहनाये गये थे ताकि वह अकबरका बेटा लगे। दासी को सब कुछ सिखा दिया गया था।
    नाव जब बीच मझधार में पहुँची और हिलने लगी तब 'अरे.... रे... रे.... ओ.... ओ.....' कहकर दासी ने स्त्री चरित्रकरके बच्चे को पानी में गिरा दिया और रोने बिलखने लगी। अपने बालक को बचाने-खोजने के लिए अकबर धड़ाम सेयमुना में कूद पड़ा। खूब इधर-उधर गोते मारकर, बड़ी मुश्किल से उसने बच्चे को पानी में से निकाला। वह बच्चा तो क्या था मोम का पुतला था।
    अकबर कहने लगाः "बीरबल ! यह सारी शरारत तुम्हारी है। तुमने मेरी बेइज्जती करवाने के लिए ही ऐसा किया।"
    बीरबलः "जहाँपनाह ! आपकी बेइज्जती के लिए नहीं, बल्कि आपके प्रश्न का उत्तरदेने के लिए ऐसा ही किया गया था। आप इसे अपना शिशु समझकर नदी में कूद पड़े। उससमय आपको पता तो था ही इन सबनावों में कई तैराक बैठे थे, नाविक भी बैठे थे और हम भी तो थे ! आपने हमको आदेश क्यों नहीं दिया ? हम कूदकरआपके बेटे की रक्षा करते !"
    अकबरः "बीरबल ! यदि अपना बेटा डूबता हो तो अपने मंत्रियों को या तैराकों कोकहने की फुरसत कहाँ रहती है? खुद ही कूदा जाता है।"
    बीरबलः "जैसे अपने बेटे की रक्षा के लिए आप खुद कूद पड़े, ऐसे ही हमारे भगवान जब अपने बालकों को संसार एवं संसार की मुसीबतों में डूबता हुआ देखते हैं तो वे पैगम्बर-वैगम्बर ­­ को नहींभेजते, वरन् खुद ही प्रगट होते हैं। वे अपने बेटों कीरक्षा के लिए आप ही अवतार ग्रहण करते है और संसार को आनंद तथा प्रेम के प्रसाद से धन्य करते हैं। आपके उस दिन के सवाल का यही जवाब है.

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  8. कुछ लोगो ने कहा की हमे लिव इन रिलेशन में रहने का क़ानूनी अधिकार दो ... कांग्रेस सरकार ने कानून बनाकर दे दिया |

    कुछ लोगो ने कहा की हमे गौमांस खाने और गाय काटने का हक दो .. तो कांग्रेस सरकार ने ये भी दे दिया

    कुछ लोगो ने कहा की हमे समलैंगिक रिश्ते रखने का क़ानूनी हक दो .... कांग्रेस सरकार ने ये भी दे दिया

    अब कुछ लोग ये कह रहे है की मैच पर सट्टा लगाने का क़ानूनी हक दो ... सुना है कांग्रेस ये भी करने की सोच रही है ...

    पर जब कुछ लोगों ने विदेशों में जमा कालेधन को लाने की बात करी तो ... कांग्रेस सरकार ने उन्हें लाठी डंडों से पीट पीटकर भगा दिया ?

    जब कुछ लोगों ने कहा की C.B.I, CVC, Election Comission को स्वतंत्र करो ... तो कांग्रेस ने कोई सुनवाई नहीं की ?

    जब कुछ लोगों ने विदेशों में कालाधन रखने वालों के नाम सार्वजनिक करने को कहा तो कांग्रेस सरकार ने कोई सुनवाई नहीं की?

    जब विदेशी निवेश F.D.I भारत आ रहा था तो कुछ लोगों ने माँग की के निवेश करने वाली कम्पनियों के असली मालिकों के नाम बताओ

    तो कांग्रेस ने उनके असली नामों को भी नहीं बताया ?
    jab sahmati se sex ki umar 18+ year karne ki izazat do

    tab congress ne ise 16 kar diya
    तो क्या इसी को कहते है "हो रहा भारत निर्माण" ??

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  9. Bhai (TET merit nahi to bharti nahi)i just wanted to know whether in the future is there will be any possibility that may be the present govt.will cancel the TET 2011 exam.Please tell me because my friend insist me to fill the TET form of 2013 (Current)and i refused to do that because i have already TET certificate.Please tell me friend.

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  10. धर्म के नाम पर भारत के टुकड़े किये जिसने - वों जिन्नाह मुसलमान हैं,
    मुंबई में बम धमाके करवाए जिसने - वों दाउद इब्राहिम मुसलमान हैं,
    करोडो हिंदुओ का खून बहाया जिसने - वों हर अरब मुसलमान हैं,
    हिंदुओ से जबरन इस्लाम कबुल करवाया जिसने - वों टीपू सुल्तान मुसलमान हैं,
    राम मंदिर तोड़कर मस्जिद बनायीं जिसने - वों बाबर मुसलमान हैं,
    गुरु तेग बहादुर का सर कलम किया जिसने - वों औरंगजेब मुसलमान हैं,
    सोमनाथ मंदिर तोडने वाले - महमूद गझनी और अल्लाउद्दीन खिलजी मुसलमान हैं,
    नालंदा बौद्ध विश्व विद्यालय जलानेवाला - बख्तियार खिलजी मुसलमान हैं,
    कश्मीर में हिंदू पंडितो का नरसंहार किया जिसने - वों हर आतंकी मुसलमान हैं,
    भारत में घुसे 5 करोड जाहिलो में - हर बांग्लादेशी मुसलमान हैं,
    बामियान में बुद्ध कि मुर्तिया तोड़ी जिसने - वों तालिबान मुसलमान हैं,
    गोधरा में कारसेवको कों जिन्दा जलाया जिसने - वों हर जेहादी मुसलमान हैं,
    पाकिस्तान, असम से हिंदुओ को खदेड़ा जिसने - वों हर हैवान मुसलमान हैं,
    26/11 कों हिंदुओ कों गोलियों से भुना जिसने - वों कसाब मुसलमान हैं,
    अमर जवान ज्योति स्मारक तोडा जिसने - वों दोनों दंगाई मुसलमान हैं,
    अमरनाथ यात्रा पर पाबंदी कि मांग कि है जिसने - वों गिलानी मुसलमान हैं,
    अमरनाथ यात्रियों पे जजिया टैक्स लगाया है जिसने - वों मंत्री मुसलमान हैं,
    भारत के संसद पर हमला किया जिसने - वों अफजल गुरु मुसलमान हैं,
    अफजल कों शहीद हीरो घोषीत करनेवाले - देशद्रोही भारतीय मुसलमान हैं,
    100 करोड हिंदुओ कों काटने कि कसम खायी है जिसने - वों ओवैसी मुसलमान है ।

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