सुखी होना है या दुखी....
किसी दिन एक मटका और गुलदस्ता साथ में खरीदा हो और घर में लाते ही 50 रूपये का मटका अगर फूट जाए तो हमे इस बात का दुख होता है,क्योंकि मटका इतनी जल्दी फूट जायेगा ऐसी हमे कल्पना भी नहीं थी पर गुलदस्ते के फूल जो 200 रूपये के है वो शाम तक मुरझा जाए तो भी हम दुखी नहीं होते क्योंकि ऐसा होने वाला ही है यह हमे पता ही था,
मटके की इतनी जल्दी फूटने की हमे अपेक्षा ही नहीं थी,तो फूटने पर दुख का कारण बना,
पर फूलो से अपेक्षा नहीं थी इसलिये वे दुख का कारण नहीं बनें,
मतलब कि जिसके लिए जितनी अपेक्षा ज्यादा उसकी तरफ से उतना दुख ज्यादा,
जितनी अपेक्षा कम,
उतना दुख कम !!
🌹🌹ऊँ शांति🌹🌹
Visit for Amazing ,Must Read Stories, Information, Funny Jokes - http://7joke.blogspot.com 7Joke
संसार की अद्भुत बातों , अच्छी कहानियों प्रेरक प्रसंगों व् मजेदार जोक्स के लिए क्लिक करें...http://7joke.blogspot.com