TNTET : Order on teacher eligibility test upheld
CHENNAI: The Madras High Court has upheld a Government Order (GO) from the School Education Department, prescribing teacher eligibility test for those who have completed certificate verification held by the Teachers Recruitment Board (TRB) for appointment as BT Assistants.
Justice K Chandru upheld the GO, while dismissing a writ petition from the TN Pattathari Asiriyargal Velaivoipu Sangam, which challenged the GO dated November 15, 2011.
There was no illegality in prescribing such test as the minimum requirement for entry into government service. It was in exercise of power under the Central enactment that the directions had been issued. The State government was bound to obey the same. Hence, the petitioner could not be heard to challenge the prescription of criteria for entry into the government service as illegal, the judge added and dismissed the petition.
NEWS :ibnLive
TNTET: शिक्षक पात्रता परीक्षण पर आदेश को सही ठहराया
ReplyDeleteचेन्नई: मद्रास उच्च न्यायालय स्कूल शिक्षा विभाग से एक सरकारी आदेश (जाएँ) के फैसले को बरकरार रखा गया है, जो प्रमाण पत्र बीटी सहायकों के रूप में नियुक्ति के लिए शिक्षक भर्ती बोर्ड (TRB) द्वारा आयोजित सत्यापन पूरा कर लिया है के लिए शिक्षक पात्रता परीक्षा निर्धारित है.
न्यायमूर्ति कश्मीर Chandru GO के फैसले को बरकरार रखा, जबकि तमिलनाडु Pattathari Asiriyargal Velaivoipu संगम है, जो 15 नवंबर, 2011 को जाओ चुनौती दी से एक रिट याचिका खारिज.
सरकारी सेवा में प्रवेश के लिए न्यूनतम आवश्यकता के रूप में इस तरह के परीक्षण को निर्धारित करने में कोई गैरकानूनी था. यह केन्द्रीय अधिनियमन है कि दिशा - निर्देश जारी किया गया था के अधीन शक्ति का प्रयोग किया गया था. राज्य सरकार उसी का पालन करना ही था. इसलिए, याचिकाकर्ता अवैध रूप में सरकारी सेवा में प्रवेश के लिए मापदंड के पर्चे को चुनौती नहीं सुना सकता है, जज जोड़ा और याचिका खारिज कर दी.
:GaThBaNdHaN:
ReplyDeleteमुलायम से हर तरह से बेहतर
मायावती नई दिल्ली।
उत्तर प्रदेश के सत्ता के
गलियारों में नई हवा बहने के आसार
दिख रहे हैं। एग्जिट पोल की मानें
तो इस बार ताज भी किसी और
का होगा और सरकार भी किसी और की।
नए चुनावी समीकरणों की आहट पाकर राजनीतिक दलों ने अपने अपने मोहरे
भी बैठाने शुरू कर दिये हैं।
कांग्रेसी नेता बेनी प्रसाद वर्मा ने चुनाव
के बाद बसपा से ही गठबंधन किए जाने
की वकालत की है। हालांकि संभावित विजेता और
संभावित हारने वाली पार्टी,
दोनों ही खेमे एग्जिट पोल को स्वीकार
करने को तैयार नहीं दिख रहे हैं।
मायावती की पार्टी से गठजोड़ के बेनी के
विचारों को उत्तर प्रदेश कांग्रेस विधायक दल के नेता प्रमोद
तिवारी तथा पार्टी महासचिव राशिद
अल्वी समेत कई पार्टी नेताओं ने
निजी विचार कहकर खारिज कर
दिया है। सपा की साख को पुन: पटरी पर लाने में
मुख्य भूमिका अदा करने वाले
पार्टी प्रमुख मुलायम सिंह यादव के बेटे
अखिलेश यादव ने भरोसा जताया है
कि उनकी पार्टी अपने दम पर बहुमत
हासिल करेगी और बहुत संभव है कि सरकार बनाने के लिए उसे कांग्रेस के
समर्थन की जरूरत नहीं पड़े। उन्होंने यह
भी कहा कि पार्टी की सरकार
बनी तो उनके पिता मुख्यमंत्री होंगे।
हालांकि उन्होंने संख्या बल कम पड़ने
की सूरत में कांग्रेस या राहुल
गांधी का समर्थन हासिल करने संबंधी सवालों को टाल दिया और
कहा कि यह सब चुनावी नतीजों पर
निर्भर करेगा। टीवी चैनलों द्वारा किए गए एग्जिट
पोल में त्रिशंकु विधानसभा में
सपा को सबसे बड़ी पार्टी के रूप में
दिखाया गया है जबकि एक चैनल ने
पार्टी को प्रदेश में 403 सदस्यीय
विधानसभ में 210 सीटों पर सफलता मिलने की भविष्यवाणी की है। मोबाइल पर ताजा खबरें, फोटो,
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