बेरोज़गारी भत्ता ………या …भीख
Article By - Om Dikshit on Jagran Blog
दूर-दर्शन पर …….
कुछ वर्षों पहले तक …….
एक विज्ञापन आता था ……
शायद, आप को भी याद हो! इसमें यह दिखाया जाता था …….
एक हाथ से एक बच्चे को …….
एक सिक्का भीख के रूप में दिया जाता है ,और ……
उसी समय एक आवाज़ आती है…….’
आप ने इसे मदद तो ….ज़रूर किया ,
लेकिन , आप ने इसे हमेशा -हमेशा के लिए ……. भिखारी …. बना दिया .
इधर तो नहीं देखा ,इसलिए लगता है कि बंद हो गया .इसके दो कारण हो सकते हैं .एक तो यह कि ….भीख को राष्ट्रिय मान्यता दे दी गयी हो, या यह विज्ञापन सरकार या जनता को ….रास न आया हो.मुझे तो ऐसा लगता है कि ….और कुछ हो या न हो,……..भीख को राजनैतिक मान्यता ज़रूर दे दी गयी है . मेरे विचार से बिना किसी काम के किसी को पैसा या अन्य कुछ देना , सामने वाले को भीख देने के सामान है …….लेकिन किसी को किसी समारोह के अवसर पर …कुछ देना …..अंग्रेजी में …’.गिफ्ट’ कहा जाता है .हिंदी में …इसे …निमंत्रण ,या ………या सहायता ,दान या अनुदान कहा जा सकता है .यह भीख की श्रेणी में नहीं आता है क्योंकि यह एक ….शिष्टाचार में आता है ,और देने वाला भी ….शिष्टाचार के रूप में कभी न कभी लेता है.यह भी अंतर होता है कि……इसे ..सुन्दर से पैक ,लिफाफे या कहीं -कहीं ,कटोरे …..या प्लेट… या ट्रे…. में कुछ …..सौंप ,इलायची ,पान आदि को मेज़ पर रखकर ,बैठने वाले को दिया जाता है.इसे ….सामाजिक मान्यता मिल गयी है. कहीं आप……कटोरे….प्लेट …या…ट्रे ….से कुछ और तो मतलब नहीं लगा रहे हैं,या …साम्यता तो नहीं करने लगे? जो भी हो निश्चय ही ,भीख, दान ,अनुदान ,सहायता ,या शिष्टाचार…..सब अलग-अलग ,क्रिया या संज्ञा सर्वनाम है.
मैं बात कर रहा था,….उ.प्र. सरकार के ,बेरोज़गारी भत्ते का.भारत के संविधान में रोज़गार की बात कही गयी है.इसका राजनैतिक लाभ लेने के लिए ….बेरोज़गारी भत्ते की घोषणा की गयी.इसका लाभ…. सपा को मिला,और सरकार ने अपना वादा निभाया . सरकार ने कल आदेश भी जारी कर दिया. बेरोजगार भी अवश्य ही खुश हो गए होंगे……….प्यासे को ओस चाटने को जो मिल गया.लेकिन …मात्र एक हज़ार प्रति-माह.. याने कि लगभग ….तैंतीस रूपये प्रति दिन.जो कि योजना आयोग द्वारा…… कुछ माह पूर्व …..गरीबी-रेखा निर्धारित करने के लिए ,आवश्यक धनराशि के ……..बेहद करीब. श्रीमान मुख्य-मंत्री जी! आज…… भिखारी भी…… इससे ज्यादा पैसा पा जाता है. क्या यह……. शिक्षित -बेरोजगारों की मजबूरी का……. मजाक नहीं है? इस एक हज़ार रूपये प्रतिमाह के भत्ते की सार्वजनिक -घोषणा करके…अखबारों में बड़े-बड़े पन्नों पर प्रकाशन करवा के …….मुख्य-मंत्री जी ने…..हमारे देश के शिक्षित बेरोजगारों को ………भिखारियों के निगाह में भी गिरा दिया……जानते हैं …..आज जब मैंने एक भिखारी को …..भीख देने से यह कहकर मना किया कि……हट्ठे-कट्ठे हो ,पढ़े-लिखे होते तो कुछ काम मिल जाता…..उसने जबाब देकर मेरी बोलती बंद कर दी……..उसने कहा कि……हुज़ूर!! पढ़े -लिखों से ,ज्यादा कमाता हूँ…कम से कम …मैं हाथ तो फैलाता हूँ,………इसमें कम मेहनत नहीं लगती है.पढ़-लिखकर भी नौकरी नहीं मिलती तो……….. ,सरकार मुझे ……महीने का एक हज़ार देती.मैं रोज़ का …..सौ-डेढ़ सौ ………आप लोगों के आगे हाथ फैलाकर …पा जाता हूँ.दो हज़ार महीना……अपने बुरे दिनों के लिए ….बैंक में जमा भी कर लेता हूँ.
यह विचारणीय प्रश्न है कि ……….क्या सरकार के पास काम की कमी है? क्या सरकार ने सभी वर्षों से खाली पड़े पदों को भर दिया है?क्या सभी विद्यालयों में शिक्षको के पद भर दिए गए हैं? क्या सरकारी कार्यालयों में……चतुर्थ श्रेणी या तृतीय श्रेणी के लाखों पद खाली नहीं है?सभी विभागों में,नगर-निकायों में,….अधिकारियों ,इंजीनियरों या चिकित्सकों या ……..उनसे सम्बंधित…….. सभी पदों को भर दिया गया है?……….जी बिलकुल नहीं .आज सभी सरकारी कार्यालयों में, अस्पतालों में,सभी विभागों में ,विद्यालयों,महा-विद्यालयों ,विश्व-विद्यालयों में ……..केवल एक-तिहाई पदों पर ही ……लोग कार्यरत हैं.इससे सारे कार्य,विकास-कार्य अध्यापन कार्य प्रभावित हो रहें हैं……..सरकार चाबुक चलाकर बचे कर्मचारियों,अधिकारियों से काम ले रही है.एक-एक अध्यापक ……दो सौ से तीन सौ बच्चों को पढ़ने के लिए मजबूर हैं……….काम की गुणवत्ता का अंदाज़ आप लगा सकते हैं….हर विभाग के लोगों को, अन्य कार्यों,…जैसे …चुनाव,जन-गणना,,,,,,.जाति-गणना,…..टीका-करण आदि कार्यों में भी लगाया जा रहा है,,,,,,,,उनके द्वारा भी केवल औपचारिकता निभाई जा रही है.कोई भी काम सही या पूरा नहीं हो रहा है.ऐसा नहीं है की सरकार के पास काम और योजनाओं की कमी है.
सरकार ने ,बेरोज़गारी भत्ते के लिए शर्त लगाईं है ,वह भी अजीब है.तीस वर्ष से चालीस वर्ष की आयु वालों को यह भत्ता दिया जाएगा,जो कम से कम हाई-स्कूल पास हैं.यह आंकड़ा नहीं दिया गया है कि…..इन नौ लाख ,भत्ता पाने वाले लोगों में ,कितने इंटर पास या अन्य योग्यता धारी हैं?सरकार के पास इनका ,आंकड़ा अवश्य होगा.सकारी नौकरियों के लिए ……सामान्य श्रेणी के लिय –३५,अन्य के लिए ४० वर्ष कि आयु सीमा निर्धारित है.अब.. सरकार के पास …..पद भी हैं और बेरोजगार भी ,तो भत्ता …….देने की बात कुछ समझ में नहीं आई.लगभग सारे विभाग ……कंप्यूटर से जुड़ गए हैं ,तो आवश्यकता केवल इस बात की है कि
योग्यता और पद तथा बेरोजगारों के व्योरे.कंप्यूटर में डाल दिए जायं,और योग्यता के अनुरूप , उन्हें आवश्यकतानुसार विभागों/ब्लाकों/ग्रामपंचायतो/नगर-निकायों से सम्बद्ध कर दिया जाय,जहाँ उनकी योग्यता और दक्षता के अनुसार कार्य लिया जाय.
सरकार की घोषणा के अनुसार ही, पूर्व-वर्ती सरकार के ………२६ ड्रीम-प्रोजेक्ट बंद कर दिए गए और इससे ….चार हज़ार आठ सौ इकसठ करोड़ की धनराशि बच गयी.इस धनराशि को अन्य आवश्यक परियोजनाओं या अवशेष ३६ प्रोजेक्ट में लगाया जाना है. सरकार चाहे तो .नौ लाख बेरोजगारों से काम लिया जाय और उन्हें चार गुना ……मजदूरी या वेतन ,चाहे जिस नाम से हो, दिया जा सकता है.आगे होने वाली नियुक्तियों में, योग्यता या परीक्षा के आधार पर ,उन्हें समायोजित कर दिया जाय.यह सही है कि इसमें कोई आयोग की रिक्तियां नहीं होंगी.तब तक इन्हें……….कार्य-मित्र या कार्य-सहायक….का नाम दिया जाय.इनके कार्य का …..त्रैमासिक मूल्यांकन ….किया जाय और आगे का पारिश्रमिक या वेतन उसी के अनुसार दिया जाय.,ताकि वह भी इसे भीख न समझें और सम्मान जनक जीवन जी सके.
जहाँ तक कार्य का प्रश्न है, यदि इन्हें……जनगणना, जाति-गणना, टीका करण ,राजस्व-सूचना संकलन ,वसूली, बिजली-चोरी रोकने ,या गाँव में किसी भी प्रकार की ग्रामीणों की सहायता करने, वृक्षारोपण या उसके संरक्षण का कार्य,जलाशयों के रख-रखाव ,किसान-सेवक के रूप में किसानो की सहायता या अनपढ़ों का सहयोग ,विधवाओं या वृद्धों की सहायता अथवा इसी तरह के अन्य कार्यों के लिए लगा दिया जाय,
तो अध्यापकों,कर्मचारियों का समय भी बचेगा और इन्हें कार्य करने की आदत भी पड़ेगी.अन्यथा ,इनकी कार्य करने की आदत हमेशा के लिए छूट जायेगी.और हमेशा के लिए………बिना काम के पैसा पाने के आदती हो जायेंगे,……और…..दूर दर्शन के उस विज्ञापन को …….जीवंत होने में देर नहीं लगेगी.इससे एक बात और होगी कि…….जो रंग लगाकर……नीलः श्रिगालह बने हैं,पकड़े जायेंगे अथवा …….मैदान छोड़ कर भाग लेंगे. जय हिंद! जय भारत!!
Article Published on - Jagran Blog By Mr. Om Dikshit
29 th May ko Lucknow me mahandolan. Charbagh Rly. Stn. in morning. UPTET ke viron isbar dikha do apni puri 100% sankhya hila dosarkar ko tub dekho ek jhatke mein ghutne tek degi srkar frwd2all bhul jao apne matbhedon jhagdon ko aur sarkaar ko sach ka samna kara do. Prateyek passed candidate ko yadi mansik dard, peeda aur tension hai to utho jago aur jaga do in A.C. mein sone wale sarkari pratinidhiyon ko Lucknow ke MAHASANGRAM mein shamil hone ka anand antim baar utha hi loh COME ON TET KE SAPOOTON KAHIN PACHATANE KO NA RAHE KI HUMNE IS MAHASANGRAM mein bhaag nahi liya, YAAD RAKHO ANYAY KARNE SE KAHIN BADA GUNAH HAI ANYAY SAHNA, NEVER FORGET YOUR JUSTICE WITH U.
ReplyDelete29 th May ko Lucknow me mahandolan. Charbagh Rly. Stn. in morning. UPTET ke viron isbar dikha do apni puri 100% sankhya hila dosarkar ko tub dekho ek jhatke mein ghutne tek degi srkar frwd2all bhul jao apne matbhedon jhagdon ko aur sarkaar ko sach ka samna kara do. Prateyek passed candidate ko yadi mansik dard, peeda aur tension hai to utho jago aur jaga do in A.C. mein sone wale sarkari pratinidhiyon ko Lucknow ke MAHASANGRAM mein shamil hone ka anand antim baar utha hi loh COME ON TET KE SAPOOTON KAHIN PACHATANE KO NA RAHE KI HUMNE IS MAHASANGRAM mein bhaag nahi liya, YAAD RAKHO ANYAY KARNE SE KAHIN BADA GUNAH HAI ANYAY SAHNA, NEVER FORGET YOUR JUSTICE WITH U.
ReplyDelete12. main point bhool gai meenu ji apne liye stayfree le lena
ReplyDeleteLajawab, Bahut hi badhiya likha hai Mr. Om Dikshit Ji ne.
ReplyDeleteWAH !!!!!!!!!!!!!!!!!!! KAYA SHOT MARA HAI HAMARE OM DIKSHIT SIR NE .
ReplyDeleteSARKAR KE MUH PAR YE EK JABRJUST TAMACHA HAI.
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
RADHE~~RADHE
Omji aap jaise log hi aaj ke real nayak h.kash bhagwan aise budhi hamare netao ko deta. i am quite impressed.
ReplyDelete
ReplyDeleteOn Facebook
By सारिका श्रीवास्तव :
vivek singh adhyaksh pratapgarh ne mujhe abhi avagat karaya ki unke jile ka ek tet abhyarthi pankaj tiwari ka nidhan ho gaya hai wo tet ki anishchitata ko le kar avasadgrast the